तुम जानो न जानो,
दिल से तुम्हें ही,
हर वक़्त याद करते हैं...
तुम मिलो न मिलो,
दुआ ख़ुशी की तेरी ही,
हम दिल से करते हैं...
तुम आओ न आओ,
ख्वाबो में तुम्हारा ही,
हम इंतजार करते हैं...
क्योंकि...
तुम कहो न कहो,
प्यार है तुझे मुझसे ही,
हम ये यकीन करते हैं...
दिल से तुम्हें ही,
हर वक़्त याद करते हैं...
तुम मिलो न मिलो,
दुआ ख़ुशी की तेरी ही,
हम दिल से करते हैं...
तुम आओ न आओ,
ख्वाबो में तुम्हारा ही,
हम इंतजार करते हैं...
क्योंकि...
तुम कहो न कहो,
प्यार है तुझे मुझसे ही,
हम ये यकीन करते हैं...
6 comments:
बहुत अच्छी रचना...वाह...
लिखते रहें
नीरज
अच्छा लिखा है आपने
बहुत अच्छा लिखा है आपने, बधाई!! ऐसे ही लिखते रहिये
good going dear.
क्योंकि...
तुम कहो न कहो,
प्यार है तुझे मुझसे ही,
हम ये यकीन करते हैं...
waah waah !!!
Ambuj Babu,
ise kahte hain self confidence...
aur wo to hai hi tum mein..
I am impressed !!
Didi
तुम मिलो न मिलो,
दुआ ख़ुशी की तेरी ही,
हम दिल से करते हैं...
wah ! bahut achche............
bahut achchi yeh kavita........
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